लोकसभा चुनाव में बड़ा मुद्दा, हिमाचल में बेरोजगारी दर के साथ ही सरकारी नौकरियां भी कम

खबर अभी अभी शिमला ब्यूरो

30 मार्च 2024

हिमाचल में बेरोजगारी दर भले ही पड़ोसी राज्यों से कम है, फिर भी युवाओं के लिए सरकारी क्षेत्र में रोजगार के दरवाजे कम ही खुले हैं। हिमाचल की बेरोजगारी दर 4.4 है। जबकि उत्तराखंड में 4.5, हरियाणा और पंजाब में 6.1 प्रतिशत है। पिछले एक साल की बात करें तो प्रदेश में 4751 सरकारी नौकरियां निकली थीं, इनमें 257 को ही रोजगार मिल पाया। निजी क्षेत्र में 11,681 रिक्तियों के मुकाबले 6983 को रोजगार मिला। हिमाचल में कुल आबादी में से करीब 23 लाख युवा हैं।

हिमाचल प्रदेश आर्थिक सर्वेक्षण 2023-24 के आंकड़ों के अनुसार दिसंबर 2023 तक हिमाचल में पंजीकृत बेरोजगार की संख्या 7,44,771 थी। कांगड़ा में सबसे अधिक 1,57,405 और लाहौल-स्पिति में सबसे कम 5,013 पंजीकृत बेरोजगार हैं। रोजगार न मिलने से प्रदेश में बेरोजगारों की फौज खड़ी होती जा रही है। बेरोजगारों का यह आंकड़ा सरकारी कार्यालयों में रोजगार के लिए नाम दर्ज करवाने वाला का ही है। कई ऐसे युवा भी हैं, जिन्होंने अपने नाम दर्ज नहीं करवाए हैं और निजी क्षेत्र में काम कर रहे हैं। इस बार होने जा रहे लोकसभा चुनावों में बेरोजगारी फिर बड़ा मुद्दा है।
नौकरी के लिए करना पड़ रहा बाहर का रुख
हिमाचल में अधिकतर युवा पढ़ाई और नौकरी के लिए बाहरी राज्यों का रुख कर रहे हैं। प्रदेश में रोजगार के सीमित साधन होना बड़ी समस्या है। हालांकि, पर्यटन कारोबार एक विकल्प है, लेकिन इसमें भी पेशेवरों की अधिक मांग है। हिमाचल प्रदेश में औद्योगिक क्षेत्र भी काफी कम है। सोलन जिले के बद्दी-बरोटीवाला-नालागढ़ में बड़ी संख्या में उद्योग हैं। इसके अलावा अन्य इलाकों में कम संख्या में छोटे उद्योग ही स्थापित हैं।

खबर अभी अभी शिमला ब्यूरो

Share the news