सिरमौर के ट्रांसगिरि क्षेत्र के टटियाना में 120 साल बाद इतिहास की होगी पुनरावृत्ति

#खबर अभी अभी सोलन ब्यूरो*

1 जुलाई 2023

kaurav and pandav meet after 200 years in Sataun Sirmour himachal pradesh

सिरमौर के ट्रांसगिरि क्षेत्र के टटियाना में 120 साल बाद इतिहास की पुनरावृत्ति होगी। यहां प्राचीन महासू महाराज के मंदिर के प्रांगण में शनिवार को शाठी और पाशी का अनोखा मिलन होगा। करीब एक साल पहले कुल देवता महासू महाराज के सुंदर और भव्य मंदिर का निर्माण किया गया था। यह मंदिर गांव की सुंदरता को चार चांद लगा रहा है, जहां ठारी माता का शांत पर्व धूमधाम से मनाया जा रहा है।

शाठी और पाशी भाइयों का ऐतिहासिक मिलन इतिहास के पन्नों में दर्ज हो जाएगा। शाठी कौरव वंशज हैं, जबकि पाशी पांडव वंशज हैं। हिमालय के पहाड़ों को काली माता का निवास स्थान माना जाता है। काली माता का एक स्वरूप ठारी माता है। ग्रामीणों के मुताबिक माता को खुश और शांत रखने के लिए इस तरह के पर्व का आयोजन किया जा रहा है। महासू देवता के मंदिर और ठारी माता की मूर्तियों को फूलों की माला से सजाया गया है। दो क्विंटल फूलों से मंदिर की सजावट की गई है। इस शांत पर्व में दो दिन में 400 गांवों के 40,000 लोगों के इकट्ठे होने की उम्मीद है।

स्थानीय ग्रामीणों अनिल शर्मा, मायाराम शर्मा, ओम प्रकाश रमौल ने बताया कि यहां शांत पर्व धूमधाम से मनाया जा रहा है। एक जुलाई को मुख्य कार्यक्रम रखा गया है, लेकिन अनुष्ठान 28 जून से शुरू हो चुके हैं। घर-घर का हरेक शख्स तैयारी में जुटा हुआ है। महासू महाराज और माता ठारी की अनुकंपा से टटियाना वासी चौंतरे में थाती-माटी के जागरण के महापर्व ‘शांत महायज्ञ अनुष्ठान’ आयोजित कर रहे हैं। एक और दो जुलाई को भंडारे का आयोजन किया जाएगा।

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