हिमाचल: सास के मुंह में पंचामृत डाल चंद क्षणों में खुद स्वर्ग सिधार गईं रमेशा, ये थे आखिरी शब्द

हिमाचल प्रदेश के हमीरपुर जिले के उपमंडल भोरंज के जाह गांव में सास और बहू के लगाव और वियोग की खबर ने सबको झकझोर कर रख दिया है। सास दमोदरी की मौत पर हृदय रोग की मरीज बहू रमेशा ने हिम्मत बनाए रखी। सास को मोक्ष की प्राप्ति हो इसलिए पंचामृत जुटाया। यह पंचामृत सास के मुंह में रखा और अंतिम संस्कार से जुड़ी सामग्री भी एकत्र की। रूंधे गले से करीब 10 मिनट तक रमेशा ने सब्र का बांध टूटने नहीं दिया और आदर्श बहू का हर फर्ज निभाया। जब हिम्मत टूटी तो वियोग की पहली ही चोख में रमेशा भी सास दमोदरी के साथ नश्वर संसार को छोड़ गई।

ये थे रमेशा के आखिरी शब्द
जाहू गांव निवासी विजय ने बताया कि रमेशा ने रोते हुए कहा ओ मेरी मां ये क्या हो गया। बस यही उसके आखिरी शब्द थे। सात बजे के करीब दमोदरी देवी की मौत हुई। पांच से दस मिनट तक पंचामृत और संस्कार से जुड़ी सामग्री खुद रमेशा ने जुटाई। फिर जब सास की अर्थी उठी तो पहली ही चीख निकलते वह अचेत हो गई। मौके पर मौजूद सबने सोचा कि गला रूंधने से वह बुब्ध है लेकिन जब बड़ी देर तक वह शांत रही तो उसको उठाया। भोरंज अस्पताल में जब एक घंटे में पहुंचे तो डॉक्टरों ने बताया कि पौना घंटा पहले ही उनकी मौत हो गई है। रमेशा के पति कश्मीर एक वर्ष से अधरंग के मरीज हैं।
रमेशा बुजुर्ग सास की सेवा में जुटी रहती थी
रमेशा अपनी बुजुर्ग सास के साथ पति की सेवा में दिन रात जुटी रहती थी। वह खुद हृदय रोग की मरीज थी बावजूद पति और सास की सेवा में 59 वर्ष की उम्र में खड़ी रही। जाहू पंचायत के पूर्व प्रधान रोशन लाल ने कहा कि इस घटना से परिजनों के साथ पूर गांव को पीड़ा से भर दिया है। हर किसी की आंख नम है। दोनों पुण्य आत्माओं को प्रभु चरणों स्थान मिले यही कामना है। पत्नी और मां की एक साथ मौत हो जाने पर उन पर कश्मीर पर दुखों का पहाड़ टूट पड़ा है। विधायक भोरंज सुरेश कुमार के रमेशा देवी और दमोदरी की एक साथ मौत होने पर गहरा दुख प्रकट किया है।

दादी के साथ बंटी ने खो दी मां
जाहू पंचायत प्रधान अनुराधा शर्मा एवं पूर्व प्रधान रोशन लाल ने कहा कि सास-बहू में बड़ा प्रेम था। दोनों की मौत से गांव में माहौल गमगीन है। रमेशा देवी के बेटे बंटी और बेटी मोनू की शादी हो चुकी है। बंटी दिल्ली में नौकरी करता है। दादी के देहांत की खबर सुन कर कर वह दिल्ली से घर के लिए रवाना हुआ था लेकिन घर पहुंच कर उसे मां के वियोग की जानकारी मिली।

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