Himachal: मोबाइल फोन पर हाजिरी लगाने से कॉलेज प्राध्यापकों का इन्कार, उच्च शिक्षा निदेशालय के आदेश पर आपत्ति

हिमाचल प्रदेश राजकीय महाविद्यालय प्राध्यापक संघ ने मोबाइल फोन पर हाजिरी लगाने से इन्कार कर दिया है। उच्च शिक्षा निदेशालय के आदेशों पर कई आपत्तियां जताते हुए संघ ने निराकरण होने तक अपना विरोध जारी रखने का फैसला लिया है। संघ के प्रदेश महासचिव डॉ. संजय ने बताया कि राजकीय महाविद्यालयों के सभी प्राध्यापकों का गूगल मीट पर ऑनलाइन सम्मेलन हुआ। इस दौरान सदस्यों ने जिओ फेंसिंग बेस्ड एप की ओर से हाजिरी लगाने पर कई शंकाएं जताईं। विस्तृत चर्चा के बाद सर्वसम्मति से यह फैसला लिया गया कि जब तक विभाग इन शंकाओं का निवारण नहीं करता तब तक सभी महाविद्यालयों के प्रवक्ता मोबाइल से हाजिरी नहीं लगाएंगे।

इसी कड़ी में शुक्रवार को सभी राजकीय महाविद्यालयों में प्रधानाचार्य के माध्यम से उच्च शिक्षा निदेशक को ज्ञापन भेजे गए। प्रदेश महासचिव ने कहा की मोबाइल से हाजिरी हमारी निजता के मौलिक अधिकार पर एक हमला है, इसके अलावा हमारा निजी डाटा चोरी होने का भी खतरा है। आईफोन पर यह एप उपलब्ध नहीं होती है और इसके लिए प्राध्यापकों को अलग से धन खर्च कर हाजिरी के लिए नया मोबाइल फोन लेना पड़ेगा। संघ का कहना है कि जब पहले से ही बायोमेट्रिक हाजिरी लग रही है और उससे किसी प्रकार की समस्या नहीं हो रही है तो आखिर विभाग को इस तरह के फैसले लेने की क्या जरूरत पड़ी। संघ ने उच्च शिक्षा निदेशक, सरकार से इस फैसले को वापस करने की मांग की।

बिजली बोर्ड के अध्यक्ष को जेई एसडीओ की परेशानियां बताईं
बिजली बोर्ड की जेई और एसडीओ एसोसिएशन के एक प्रतिनिधिमंडल ने शुक्रवार को प्रदेश अध्यक्ष मुकेश राठी की अध्यक्षता में बोर्ड अध्यक्ष प्रबोध सक्सेना और प्रबंध निदेशक आदित्य नेगी से मुलाकात की। एसोसिएशन ने अपना 26 सूत्री मांग पत्र प्रबंधन को सौंपा। मुकेश राठी ने फील्ड में कार्यरत जूनियर इंजीनियरों की वास्तविक समस्याओं को विस्तार में प्रबंधन के समक्ष रखा। उन्होंने अवगत करवाया कि फील्ड में सामग्री की भारी कमी एवं स्टाफ की कमी के कारण जूनियर इंजीनियर गंभीर कठिनाइयों का सामना कर रहे हैं। आए दिन ट्रांसफॉर्मर डैमेज होने की घटनाएं बढ़ रही हैं।

ट्रांसफार्मर ऑयल की भारी कमी है, इस कारण ट्रांसफॉर्मर बार-बार खराब हो रहे हैं और जेई को अपने खर्चे से रिपेयर करनी पड़ रही है। एमएंडटी विभाग में भी ट्रांसफॉर्मर रिपेयर के लिए आवश्यक सामग्री उपलब्ध नहीं है। उन्होंने इन समस्याओं के समाधान और फील्ड कार्यों के सुचारु संचालन के लिए जूनियर इंजीनियरों एवं सहायक अभियंताओं की वित्तीय शक्तियों में आवश्यक वृद्धि करने की मांग की। उन्होंने कहा कि डिप्लोमा होल्डर जूनियर इंजीनियरों के प्रमोशन कोटा में किसी भी प्रकार की छेड़छाड़ का की जाए। उन्होंने कहा कि इलेक्ट्रोक्यूशन केसों में जूनियर इंजीनियर के नाम से एफआईआर दर्ज नहीं होनी चाहिए। मुकेश राठी ने बताया कि प्रबंधन ने सभी मांगों को सकारात्मक रूप से जांचने और उचित कदम उठाने का आश्वासन दिया।

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